Scholarship in schools to meritorious students from economically weaker sections आथ्थिक रूप से कमजोर वर्गों के मेधावी छात्रों को विद्यालयों में छात्रवृत्ति
भारत सरकार
शिक्षा मंत्रालय
स्कूल शिक्षा और साक्षरता विभाग
लोक सभा
अतारांकित प्रश्न संख्या-2050
उत्तर देने की तारीख : 19/12/2022
विद्यालयों में छात्रवृत्ति
12050. डॉ. एम.पी. अब्दुस्समद समदानी:
क्या शिक्षा मंत्री यह बताने की कृपा करेंगे किः
(क) क्या 2019 तक विद्यालयों के बच्चों को प्रदान की गई विभिन्न छात्रवृत्तियों में से कोई रदद या संशोधित कर दी गई है;
(ख) यदि हां, तो ऐसी बंद की गई छात्रवृत्तियों सहित तत्संबंधी परिस्थितियों और उन वर्षों का ब्यौरा क्या है जब ये छात्रवृत्तियां बंद की गई थीं;
(ग) क्या इन छात्रवृत्तियों के स्थान पर कोई अन्य छात्रवृत्ति प्रदान की गई है और यदि हां, तो तत्संबंधी ब्यौरा क्या है;
(घ) अभी तक बहाल नहीं की गई छात्रवृत्तियों का ब्यौरा क्या है; और
(ड) क्या छात्रवृत्तियां बहाल नहीं किए जाने के कारण अ.जा./अ.ज.जा., अ.पि.व., लड़कियां ओर दिव्यांग छात्रों सहित कोई बच्चा छात्रवृत्ति प्राप्त करने का अवसर खो चुका है और यदि हां, तो तत्संबंधी ब्यौरा क्या है?
उत्तर
शिक्षा मंत्रालय में राज्य मंत्री
(श्रीमती अन्नपूर्णा देवी)
(क): शिक्षा मंत्रालय :- आथ्थिक रूप से कमजोर वर्गों के मेधावी छात्रों का आठवीं कक्षा में ड्रॉप आउट को रोकने और उन्हें माध्यमिक स्तर पर अपनी शिक्षा जारी रखने के लिए प्रोत्साहित करने के उददेश्य से केंद्रीय क्षेत्र की योजना 'रष्ट्रीय साधन-सह-योग्यता छात्रवृत्ति योजना' 2008 में शुरू की गई थी। 1 अप्रैल 2017 से छात्रवृत्ति की राशि 6000/- रुपये से बढ़ाकर 12000/- रुपये प्रति वर्ष कर दी गई है। यह एक सतत योजना है।
सामाजिक न्याय और अधिकारिता मंत्रालय (एमएसजेड) दिव्यांगजन सशक्तिकरण विभाग (दिव्यांगजन):- दिव्यांगजन सशक्तिकरण विभाग (दिव्यागजन) 2014-15 से दिव्यांग छात्रों (स्कूली बच्चों) के लिए प्री-मैट्रिक छात्रवृत्ति कायौन्वित कर रहा है। वर्ष 2014-15 में शुरुआत के बाद से, प्री मैट्रिक के तहत किए गए संशोधन निम्नलिखित हैं:
1 अप्रैल, 2016 से प्री मैट्रिक छात्रवृत्ति योजनाओं में संशोधन:
- डे स्कॉलर हैतु पुस्तक भत्ता 750 रुपये प्रति वर्ष से बढ़ाकर 1000 रुपये प्रति वर्ष।
प्री मैट्रिक छात्रवृत्ति योजना में 1 अप्रैल, 2018 से किए गए संशोधन निम्नलिखित हैं:-
- माता-पिता की आय सीमा: माता-पिता की मौजूदा वाषिक आय सीमा 2.00 लाख रुपये प्रति वर्ष की सीमा को बढ़ाकर 2.50 लाख रुपये प्रति वर्ष कर दिया गया है।
- रख-रखाव भत्ता: होस्टलर के लिए रखरखाव भत्ता 600 रुपये से बढ़ाकर 800 रुपये प्रति माह और डे स्कॉलर्स के लिए 350 रुपये से बढ़ाकर 500 रुपये प्रति माह कर दिया गया है। रख-रखाव भत्ते का भुगतान वर्ष में 10 माह के स्थान पर 12 माह हेतु किया जा रहा है।
- दिव्यांगता संबंधी भत्ते: दिव्यांगता भत्ता 2000/- रुपये प्रति वर्ष से लेकर 4000/- रुपये प्रति वर्ष जो कि बताई गई दिव्यांगता के प्रकार पर निभर करता है।
सामाजिक न्याय और अधिकारिता विभाग (डीओएसजेड़) अनुसूचित जाति (एससी) प्रभाग एवं न्याय और अधिकारिता विभाग (डी अनसचित जाति (एससी) प्रभाग एवं पिछड़ा वर्ग (बीसी) प्रभाग: एससी और बीसी के लिए छात्रवृत्ति योजनाएं सतत योजनाएं हैं। जनजातीय कार्य मंत्रालय (एमओटीए): अनुसूचित जनजाति (एसटी) के लिए छात्रवृत्ति योजनाएं सतत योजनाए हैं। अल्पसंख्यक कार्य मंत्रालय: प्री-मैट्रिक के लिए छात्रवृत्ति योजनाएं सतत योजनाएं हैं।
(ख) से (ड): प्रश्न नहीं उठता।
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